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Books: अंडरवर्ल्ड बुलेट्स : मुंबई माफिया के अनसुने किस्से

अंडरवर्ल्ड बुलेट्स : मुंबई माफिया के अनसुने किस्से
लेखक – विवेक अग्रवाल
पृष्ठ – 330 / अध्याय – 113

यह किताब मनोरंजन का मसाला नहीं है, मुंबई अंडरवर्ल्ड का जीवंत दस्तावेज है।

इसमें प्रकाशित छोटी-छोटी कथाओं की बुनावट किस्सों सी है ताकी पढ़ते हुए न लगे कि इतिहास के ऐसे पृष्ठ पलट रहे हैं।

ये किस्से रहस्य की धुंध से बड़ी जद्दोजहद और जिद के बूते बाहर निकाले हैं।

ये किस्से न केवल मजेदार लगेंगे, बल्कि अंडरवर्ल्ड बुलेट्स संग्रहणीय पुस्तक साबित होगी।

एक ऐसी किताब जो खोल रही है राज मुंबई के स्याह सायों के संसार के ढेरों नए।

देश का सबसे बडा, खतरनाक और भयावह भूमिगत संसार देश की आर्थिक और मनोरंजन की राजधानी में है।

लल्लू जोगी से बखिया बंधुओं तक, हाजी मिर्जा मस्तान से करीम लाला तक, दाऊद इब्राहिम से अरुण गवली तक, मन्या सुर्वे से सुभाष ठाकुर तक, पापामणि से बल्लू बादशाह तक, न जाने कितने किरदार हैं अंधियाले संसार में, जिनके बारे में कुछ ही बातें लोगों तक पहुंची हैं।

पुस्तक में मुंबई के गिरोहबाजों, पंटरों, मुखबिरों में प्रचलित शब्द व मुहावरे इस्तेमाल हुए हैं। लोगों को इन शब्दों-मुहावरों के अर्थ पता नहीं होते, इसलिए वह भी अंत में दिए हैं।

अंडरवर्ल्ड बुलेट्स श्रृंखला की यह दूसरी पुस्तक है, जिसके चार खंडों में कुल 113 किस्से हैं।

द इंडिया इंक से प्रकाशित।

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