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नकली नोट 4 : पाक जालसाजों ने तोड़ लिए 17 सुरक्षा फीचर में से 11

पाक का नापाक इरादा : नकली करंसी बनी हथियार – भाग 4

विवेक अग्रवाल।

मुंबई, 2 मार्च 2017।

अब जितनी भी नकली करंसी पकड़ी गई है, उसकी छानबीन से यह पता चला है कि असली करंसी में सुरक्षा के लिए 17 फीचर आरबीआई ने दिए थे, उनमें से 11 हूबहू आईएसआई के नक्कालों ने तैयार कर लिए हैं।

जांच अधिकारियों के मुताबिक नकली करंसी बहुत अच्छी छपाई के साथ आई है। नकल छापने वालों ने लगभग सभी सुरक्षा फीचर नकली करंसी में भी डालने में कामयाबी हासिल कर ली है।

 

बतौर नमूना भेजे नकली नोट

जांच एजंसियों को पता चला है कि पाकिस्तान ने फिलहाल नकली नोटों की खेप बतौर नमूना भेजी थी। आईएसआई एजेंटों का मानना है कि यदि यह नकली करंसी बिना किसी मुसीबत या परेशानी भारतीय बाजारों में चल पड़ी तो इसी का उत्पादन बड़े पैमाने पर होगा। यदि यह आसानी से पहचान में आने लगी तो इसकी गुणवत्ता में सुधार करके फिर बड़ी मात्रा में छाप कर भारतीय बाजारों में पहुंचाया जाएगा।

11 फीचर हुए नकल

जालसाजों ने नए 2000 के नोट का लगभग 80 फ़ीसदी हिस्सा पूरी तरह तैयार कर लिया है कुल 17 में से 11 सुरक्षा फीचर जालसाजों ने हूबहू बना लिए हैं। नए नोटों में कुल 13 सुरक्षा फीचर सामने की तरफ हैं, तो चार पिछले हिस्से पर हैं। इस बार दृष्टिहीन नागरिकों की सुविधा के लिए आगे दो फीचर दिए हैं जो इन्हीं 17 सुरक्षा फीचर के हिस्सा हैं। ये दो सुरक्षा फीचर ही जालसाजों ने बख्श दिए हैं

कमाल की बात तो यह है कि जिन सुरक्षा फीचर्स पर सबसे ज्यादा आरबीआई अधिकारी इतरा रहे थे उन्हें बड़ी आसानी से पाक जालसाजों ने तोड़ लिया है। नई करंसी के वॉटरमार्क और विशिष्ट नंबर लिखने की व्यवस्था के अलावा उभरी हुई छपाई भी उन्होंने नकली करंसी में छाप दी है।

यह भी दावा किया जा रहा था कि नई करंसी का रंग भी जालसाज नहीं बना पाएंगे। यह धारणा और दावा भी नकली ₹2000 के नोट देखने के बाद हवा में उड़ता नजर आया है।

अधिकारियों का कहना है कि ऐसी अच्छी क्वालिटी की नकली करंसी छापना किसी सरकारी बैंक नोट प्रिंटरी के बेहतरीन और सक्षम कारीगरों के अलावा संभव ही नहीं है। उनका यह भी कहना है कि ये पहले कुछ मामले जरूर हैं लेकिन आखिरी नहीं हो सकते हैं। उनका कहना है कि अब इस सिलसिले में जल्द ही कुछ और गिरफ्तारियां हो सकती हैं।

 

बरास्ते नेपाल आए 100 के नकली नोट

डीसीपी स्पेशल सेल संजीव कुमार यादव के मुताबिक गिरफ्तार तस्करों संजीव उर्फ मुकेश और अर्विन उत्तरप्रदेश के शामली जिले के कैराना के मूल निवासी हैं। पिछले दो सालों से देश के विभिन्न राज्यों में नकली नोटों का कारोबार कर रहे थे। वे दिल्ली में तीन महीने से नकली नोटों का कारोबार कर रहे थे।

अधिकारियों का दावा है कि कैराना निवासी इकबाल काना पाक खुफिया एजंसी आईएसआई का बड़ा एजंट है। वह बड़े पैमाने पर नकली करंसी का कारोबार करता है। इकबाल काना बजरिए नेपाल नकली करंसी लाता है। सड़क मार्ग से यह नकली करंसी दिल्ली, उत्तरप्रदेश, बिहार जैसे राज्यों तक अपने एजेंटों के मार्फत बाजार में पहुंचाता है।

डीसीपी संजीव यादव के मुताबिक दिल्ली-एनसीआर समेत देश के सभी राज्यों में 100 के नकली नोट धड़ल्ले से चल रहे हैं। उनका कहना है कि नकली करंसी का कागज भी ठीक वैसा ही इस्तेमाल हो रहा है, जैसा भारतीय रिजर्व बैंक की प्रिंटिंग प्रेस में इस्तेमाल होता है। नकली 100 के नोट की छपाई बहुत आला दर्जे की होने से यह आम इंसान नहीं पकड़ सकता है। विशेषज्ञ और मशीनें ही असली-नकली करंसी का फर्क पता कर सकती हैं।

तस्कर ने पूछताछ में बताया कि बाजार में सौ रुपए के नकली नोटों की मांग जोर पकड़ चुकी है। उनका कहना था कि वे 40 फ़ीसदी की दर पर धंधा करते हैं। दिल्ली पुलिस को उन्होंने बताया कि 40 हजार रूपए असली करंसी लेकर वे एक लाख रुपए की नकली करंसी देते हैं।

उन्होंने बताया कि सौ रुपए की करंसी नेपाल से आईएसआई एजंट से 20 से 30 फ़ीसदी की दर पर उन्हें मिलती है। वे कोशिश करते हैं कि जो उनसे नकली करंसी लेते हैं, कम से कम एक लाख रुपए की नकली करंसी जरूर लें।

पुलिस अधिकारियों का कहना है कि मुकेश का मन पढ़ाई में नहीं लगता था इसलिए उसने बचपन में ही शिक्षा को तिलांजलि दे दी थी। वह नौकरी करने हालांकि मुंबई गया था लेकिन वहां की आपाधापी और कड़ी मेहनत से हलाकान होकर गांव शामली लौट गया था। बेरोजगारी के आलम में उसका नकली करंसी के सौदागरों से संपर्क हो गया। तेजी से और बहुत सारा पैसा कमाने की आकांक्षा में उसने संजीव के साथ यह धंधा शुरु कर दिया था।

 

2000 रुपए के नकली नोट बंदी की हिमायत की बाबा रामदेव ने

10 जनवरी 2017 को योग गुरु बाबा रामदेव ने अपना पुराना सुर फिर पकड़ा। बाबा रामदेव ने रायपुर में संवाददाता सम्मेलन में कहा कि बड़े नोट में वही समस्या है, जिसके कारण प्रधानमंत्री इसे वापस लिया था। उनका मानना है कि बतौर नकली करंसी बड़ा नोट जल्दी छपता है। बाबा रामदेव ने कहा कि कालेधन से निपटने के लिए भविष्य में 2000 रुपए का नोट छापना बंद करना चाहिए।

योग गुरु बाबा रामदेव बड़े नोट के खिलाफ हैं। उन्होंने कहा कि बड़े नोट के दुष्परिणाम दिखने लगे हैं। अब क्योंकि 2000 रुपए के नकली नोट भी आ गए हैं, इसलिए यह नोट भी बंद कर देना बेहतर होगा। उन्होंने कहा कि बड़े नोट बतौर नकली करंसी ना केवल जल्दी छप जाते हैं, आसानी से कहीं भी भेजे जा सकते हैं। वे काफी कम जगह भी लेते हैं। उन्होंने छोटे नोट ही अर्थव्यवस्था में रखने की वकालत करते हुए कहा कि डिजिटल लेन-देन से अर्थव्यवस्था में पारदर्शिता आएगी, काले धन पर लगाम लगाने में सुविधा होगी।

समाप्त

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